I-T to monitor firms advance tax payments
- June 14, 2023
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In a move to ensure companies do not defer their tax liabilities for the financial year, the income-tax department has decided to keep a close watch on advance tax payments by analysing India Inc’s annual and quarterly balance sheets, as well as sectoral growth trends.
According to the I-T department’s central action plan for 2023-24, financial statements of top 100 listed companies in their last published annual reports, and quarterly reports through the year, will be analysed. Based on this study, senior officials will monitor advance tax collections of their charges. The officials have also been asked to focus on “notes” and observations on financial accounts, if any.
The tax department, according to sources, will also review growth trends in some sectors. It is pertinent to study the balance sheets of companies in each sector to know whether the payment made by them is in sync with their earnings outlook.
Companies would pay the first advance tax instalment on June 15. A strategy has also been made to focus on quality secreting of accounts before raising tax demand, and to pay special attention to the recovery of arrears.
The idea is to both widen and deepen tax bases. The action plan, with a greater emphasis on enhancing tax collected at source and utilizing the enforcement mechanism to detect tax evasion, is expected to increase the taxpayer base by 10 per cent in 2023-24.
आयकर विभाग द्वारा कंपनियों के अग्रिम कर भुगतानों की निगरानी
आयकर विभाग ने कंपनियों के अग्रिम कर भुगतान पर करीबी नजर रखने का फैसला किया है। इस कदम को उठाने का ध्येय यह है कि कंपनियां वित्त वर्ष में लंबित देनदारियों को स्थगित नहीं करें। विभाग भारत में कंपनियों की सालाना और तिमाही बैलेंस शीट के साथ-साथ क्षेत्रवार वृद्धि के रुझानों का विश्लेषण भी करेगा।
आयकर विभाग 2023-24 की केंद्रीय कार्ययोजना के तहत शीर्ष 100 लिस्टेड कंपनियों की पिछली प्रकाशित सालाना, साल भर की तिमाहियों के रिपोर्ट का विश्लेषण किया जाएगा।
इस अध्ययन के मुताबिक वरिष्ठ अधिकारीगण अग्रिम कर संग्रह की निगरानी करेंगे। अधिकारियों को कहा गया है कि यदि वित्तीय खातों के नोट्स और टिप्पणियां हो, तो उन पर नजर रखी जाएगी। सूत्रों के मुताबिक आयकर विभाग कुछ क्षेत्रों के वृद्धि के रुझानों की भी समीक्षा करेगा।
कंपनियां अग्रिम कर की पहली किश्त का भुगतान 15 जून तक करेंगी। कर की मांग और बकाया वसूली पर विशेष ध्यान देने से पहले गुणवत्तापूर्वक जांच करने की रणनीति बनाई गई है।
सोच का ध्येय कर के दायरे को बढ़ाना है। इस कार्ययोजना के तहत स्त्रोत से कर संग्रह पर ज्यादा जोर दिया जाएगा और कर चोरी पकड़ने के लिए प्रवर्तन के तंत्र का इस्तेमाल किया जाएगा। उम्मीद यह है कि इससे 2023-24 तक करदाताओं के आधार में 10 फीसदी की बढ़ोतरी होगी।